विराट कोहली ने हाल ही में टेस्ट कप्तानी छोड़ने का फैसला किया था। इससे पहले दिसंबर 2021 में उनसे वनडे कप्तानी छीन ली गई थी, जबकि वे सितंबर में ही इस बात का ऐलान कर चुके थे कि वे अक्टूबर-नवंबर 2021 में होने वाले टी20 विश्व कप के बाद सबसे छोटे प्रारूप की कप्तानी छोड़ेंगे। हालांकि, बीसीसीआई और चयनकर्ताओं ने उनसे वनडे की कप्तानी छीन ली और बाद में उन्होंने जनवरी में साउथ अफ्रीका के खिलाफ 2-1 से मिली हार के बाद टेस्ट कप्तान के पद से इस्तीफा दे दिया। हालांकि, पूरी तरह से उन्होंने ये नहीं बताया था कि उन्होंने क्यों इस्तीफा दिया है, लेकिन अब उन्होंने खुद इस बात का खुलासा किया है कि वे क्यों कप्तान नहीं बने रहना चाहते थे।
विराट कोहली की मानें तो उन्होंने अपने लिए कुछ लक्ष्य निर्धारित किए थे और जब उन्होंने उन्हें हासिल किया, तो उन्होंने कप्तानी छोड़ने का फैसला किया। 33 वर्षीय विराट ने एक कप्तान के जीवन काल के बारे में और भी बता की। विराट ने यह भी स्वीकार किया कि एक बल्लेबाज के रूप में उनकी भूमिका एक टीम का नेतृत्व करने से ज्यादा महत्वपूर्ण है, यही वजह है कि उन्होंने कप्तानी छोड़ दी। विराट कोहली ने फाइरसाइड चैट के दौरान बताया, “मैंने एक कप्तान के रूप में जो चाहा वह हासिल किया। मुझे लगता है कि एक बल्लेबाज के रूप में मेरी भूमिका अधिक महत्वपूर्ण है। टीम का लीडर बनने के लिए आपको कप्तान होने की जरूरत नहीं है।”
दाएं हाथ के बल्लेबाज विराट कोहली ने कहा, ” जब एमएस धोनी ने कप्तानी से इस्तीफा दिया, तब वे टीम का हिस्सा थे। ऐसा नहीं है कि वे लीडर नहीं थे और वे वही शख्स थे, जिनसे हमने बहुत सुझाव लिए।” उन्होंने आगे ये भी कहा, “जब मैं कप्तान बना तो मेरा मुख्य लक्ष्य टीम कल्चर को बदलना था, क्योंकि भारत में कौशल की कोई कमी नहीं थी। दुनिया में शायद ही किसी देश में इतने कुशल खिलाड़ी हों जितने कि भारत में हुनरमंद खिलाड़ी हैं।” बता दें कि अब सीमित ओवरों की कप्तानी रोहित शर्मा को सौंप दी गई है कि विराट कोहली पहली बार उनकी कप्तानी में खेलते नजर आएंगे।